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रूद्रप्रयाग डीएम मंगेश घिल्डियाल ने लॉकडाउन के चलते गांव आए प्रवासी उत्तराखंडियों को दी कड़ी चेतावनी।

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रुद्रप्रयाग के डीएम मंगेश घिल्डियाल ने विभिन्न प्रदेशों से लौटे प्रवासी उत्तराखडियों को कड़ी चेतावनी दी है, दरअसल कोरोना वायरस के चलते अन्य प्रदेशों से विभिन्न लोग इन द्नों गांव में लौटे हैं, लेकिन गांव आकर यह लॉकडाउन का पालन करने के बजाय क्रिकेट व ताश खेलते हुए नजर आ रहे हैं।

 

डीएम मंगेश घिल्डियाल का कहना है कि उनके पास ऐसी कई शिकायते़ आ रही हैं।जिसके बाद डीएम ने गांव लौटे प्रवासियों को गढ़वाली भाषा में अपील के रूप में नसीहत तथा कड़ी चेतावनी देते हुए कहा है कि उनकी हरकतों की वजह से वे गांव के और लोगों को भी मवासी घाम लगा देंगे।

डीएम ने चेतावनी दी कि वे जितना ज्यादा हो सके 14 दिन तक अपने घर में सबसे अलग आइसोलेट या क्वॉरेंटाइन होकर के रहें। यही उनकी अपने गांव के लिए सबसे बड़ी सेवा होगी। डीएम रुद्रप्रयाग ने कहा कि गांव लौटे लोग गांव में सभी से मिल रहे हैं, ताश और क्रिकेट खेल रहे हैं।

गांव के लोग भी आपस में दुश्मनाई होने के डर से उन्हें कुछ नहीं कह पा रहे हैं। मंगेश घिल्डियाल ने कहा कि बाहर से आए हुए एक भी व्यक्ति में यदि संक्रमण हुआ तो वह पूरे गांव ब्लॉक और जिले के लिए कितना खतरनाक हो सकता है इसकी कल्पना भी नहीं की जा सकती।
डीएम ने कड़े शब्दों में कहा कि आप लोग 15-20 सालों से गांव से बाहर रह रहे हो यदि 10-15 दिन और अलग रह लोगे तो कोई फर्क नहीं पड़ेगा। यदि ऐसा नहीं करोगे तो फिर इससे बड़ी गैर जिम्मेदारी कुछ और नहीं हो सकती। डीएम ने ऐसे लोगों के माता-पिता से भी अपील की है कि बाहर से आए हुए लोगों के बर्तन भी अलग कर दें तथा एक आदमी को उन लोगों की देखरेख में लगा दो। तथा ऐसे लोगों से बच्चों बूढ़ों और गर्भवती महिलाओं को बिल्कुल दूर रखा जाए तथा उनके बार-बार हाथ धुलाए जाएं। डीएम रुद्रप्रयाग ने बताया कि ऐसी शिकायतें रोज मिल रही है कि गांव लौटे हुए लोग सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं कर रहे हैं। ऐसे पंद्रह लोगों के खिलाफ मुकदमा भी दर्ज किया गया है। और प्रशासन ड्रोन से भी इस बात की निगरानी करेगा तथा यदि कोई ऐसी शिकायत जब भी मिलेगी तो फिर कड़ी कार्यवाही की जाएगी।